रविवार, 4 जनवरी 2015

देश में 2500 स्थापित होंगे नये कौशल विकास केन्द्र : राजीप प्रताप रुडी / 2500 New Skills Development Centres will be established in the country : Rajip Pratap Rudy


-शीतांशु कुमार सहाय

-सार्वजनिक-निजी भागीदारी से देशभर में स्थापित होंगे आईटीआई और पॉलिटेक्निक केन्द्रों की नयी शृँखला

-12 करोड़ युवाओं को प्रशिक्षित करने का लक्ष्य

नयी दिल्ली के विज्ञान भवन में आयोजित ‘मेक इन इण्डिया’ कार्यक्रम में राजीप प्रताप रुडी व अन्य

 

अगले कुछ वर्षों में भारत विकास के क्षेत्र में नया कीर्तिमान स्थापित करनेवाला है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की दूरदर्शिता का ही पर्याय है कि केन्द्रीय सरकार के अन्तर्गत कौशल विकास (स्किल डेवलपमेंट) को लेकर एक नया विभाग बनाया गया है जिसके अन्तर्मन्त्रालीय व अन्तर्विभागीय सम्बद्धता के आधार पर देशभर के युवाओं को विभिन्न हुनरों या तकनीकों में प्रशिक्षित किया जायेगा। भारत सरकार के वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय के अन्तर्गत औद्योगिक नीति एवं संवर्द्धन विभाग द्वारा नयी दिल्ली के विज्ञान भवन में आयोजित ‘मेक इन इण्डिया’ कार्यक्रम में उक्त बात की जानकारी देते हुए केन्द्रीय राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) कौशल विकास एवं उद्यमिता-सह-संसदीय कार्य राज्यमंत्री राजीव प्रताप रुडी ने कहा कि युवाओं को विभिन्न चरणों में प्रशिक्षित किया जायेगा; ताकि विश्व में सर्वाधिक हुनरमन्द भारत में हों।

-संगठित होगा श्रम बाजार
श्री रुडी ने कहा कि विश्वश्रम बाजार में भारत सबसे बड़ा असंगठित श्रम बाजार है जिसकी उत्पादकता अत्यन्त कम है। केन्द्र सरकार की उद्यमिता उत्थान की नीति से श्रम बाजार संगठित होगा और श्रमिकों के
हुनरमन्द होने से उनकी उत्पादकता भी बढ़ेगी। इसके लिए देशभर में औद्योगिक प्रशिक्षण केन्द्रों (आईटीआई) और पॉलिटेक्निक प्रशिक्षण संस्थानों की नयी शृँखला स्थापित की जायेगी। वर्तमान में लगभग 12 हजार आईटीआई केन्द्रों से आठ लाख और चार हजार पॉलिटेक्निक संस्थानों से दस लाख युवाओं को प्रशिक्षण मिल रहा है जो देश में हुनरमन्दों की आवश्यकता से बहुत कम है।
-भारत बनेगा ‘स्किल कैपिटल’
केन्द्रीय मंत्री श्री रुडी ने कहा कि प्रधानमंत्री का यह सपना है कि अगले कुछ वर्षों में भारत को दुनिया का ‘स्किल कैपिटल’ बनाया जाय, जिसे हम साकार करेंगे। युवाओं के छः महीने के प्रशिक्षण पर प्रति प्रशिक्षणार्थी औसतन 10 हजार रुपये खर्च किये जायेंगे। फिलहाल 12 करोड़ युवाओं को प्रशिक्षित करने का
लक्ष्य है जिसके तहत प्रति प्रशिक्षणार्थी 10 से 18 हजार रूपये खर्च का अनुमान है। सरकारी आकलन के अनुसार देश में स्किल डेवलपमेंट पर 24 हजार करोड़ रुपये खर्च होंगे। इस राशि का 30 प्रतिशत बाजार या निजी भागीदारी से उपलब्ध होगा। स्किल डेवलपमेंट के लक्ष्य को पूरा करने के लिए केन्द्रीय सरकार पूरी तरह संकल्पित है।
-कई देशों से सहयोग
श्री रुडी ने बताया कि देश को हुनरमन्द बनाने के लिए स्वीडन, आस्टेªलिया, यूरोपियन संघ, फ्रांस, कनाडा, अमेरिका, जर्मनी, ब्रिटेन, विश्व बैंक आदि से तकनीकी व व्यावसायिक प्रमाणन सहयोग लिया जा रहा है।

-स्वच्छ भारत अभियान, डिजिटल इंडिया व राष्ट्रीय सौर मिशन
केन्द्रीय उद्यमिता विकास मंत्री के अनुसार, देश में उद्यमिता अभिवृद्धि के लिए ‘मेक इन इंडिया’ के अन्तर्गत 25 क्षेत्रों को चिह्नित किया गया है तथा सार्वजनिक-निजी भागीदारी के तहत 2500 मल्टी स्किलिंग संस्थान स्थापित होंगे। इसके लिए 100 कम्पनियों को शामिल किया जायेगा। स्वच्छ भारत अभियान, डिजिटल इंडिया व राष्ट्रीय सौर मिशन को इसमें शामिल किया गया है। इस सन्दर्भ में सरकार ‘डिजाइन वन्स, यूज मल्टीपल्स’ योजना पर कार्य कर रही है; ताकि उत्पादन व नये डिजाइन के आधार पर बाजार की माँग को पूरा किया जा सके। उपर्यक्त जानकारी श्री रुडी के कार्यालय प्रभारी धनंजय तिवारी ने दी।

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